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कहते हैं कि काम राम होता है नरसी जी भगवान कृष्ण के भक्तथे जब नानी बाई मौत का बुलावा देने अपने पिता नरसी जी के घर गई तो उनके पास उस समय कुछ नहीं लेकिन वह भगवान कृष्ण की भक्ति में लीन थे और उनको पूर्ण विश्वास था कि भगवान मेरा साथ देंगे ऐसा ही एक वाकया राजस्थान के हनुमानगढ़ जिला अंतर्गत नेठराना गांव में देखने को मिला यहां पर एक बहन अपने पिताजी के यहां मायरा भरवाने का बुलावा देने के लिए आई थी लेकिन कुदरत के चलते उनके पिताजी भाई सभी का स्वर्गवास हो गया था लेकिन बहुत भावत मन को लेकर वह बहन जहां उनका परिवार रहता था उनकी कुटिया को तिलक लगाकर और उन्होंने मायरा मौत का बुलावा दिया और वापस अपने ससुराल चली गई उसके बाद सभी ग्रामीणों ने एकमत होकर उस बहन के बुलावे को बहुत गंभीरता से लेते हुए पूरे गांव की एक आपातकालीन बैठक बुलाई गई और उसमें यह निर्णय लिया गया कि वह हमारे गांव की बेटी है भले ही उसके परिवार में कोई नहीं है लेकिन गांव की बेटी होने के नाते वह हमारी भी बेटी है इसलिए उस बेटी की मायरे में सभी मिलजुल कर हिस्सा लेंगे और एक ऐसा भात भरा जाएगा जो सतयुग के जमाने में नरसी जी का भात चरितार्थ हुआ था उसी प्रकार हम भी पूरे गांव के लोग उस बहन के घर मायरा भरने जाए सभी ग्रामीण एकमत हुए और उस बहन के घर पूरे जोश उमंग और उत्साह के साथ लोग पहुंचे भावत बल में उस बहन ने सभी को तिलक लगाकर सभी भाई बहनों का अपने घर स्वागत किया

वीरेंद्र सिंह राठौड़ ( जयपुर)
कहते हैं कि काम राम होता है नरसी जी भगवान कृष्ण के भक्तथे जब नानी बाई मौत का बुलावा देने अपने पिता नरसी जी के घर गई तो उनके पास उस समय कुछ नहीं लेकिन वह भगवान कृष्ण की भक्ति में लीन थे और उनको पूर्ण विश्वास था कि भगवान मेरा साथ देंगे ऐसा ही एक वाकया राजस्थान के हनुमानगढ़ जिला अंतर्गत नेठराना गांव में देखने को मिला यहां पर एक बहन अपने पिताजी के यहां मायरा भरवाने का बुलावा देने के लिए आई थी लेकिन कुदरत के चलते उनके पिताजी भाई सभी का स्वर्गवास हो गया था लेकिन बहुत भावत मन को लेकर वह बहन जहां उनका परिवार रहता था उनकी कुटिया को तिलक लगाकर और उन्होंने मायरा मौत का बुलावा दिया और वापस अपने ससुराल चली गई उसके बाद सभी ग्रामीणों ने एकमत होकर उस बहन के बुलावे को बहुत गंभीरता से लेते हुए पूरे गांव की एक आपातकालीन बैठक बुलाई गई और उसमें यह निर्णय लिया गया कि वह हमारे गांव की बेटी है भले ही उसके परिवार में कोई नहीं है लेकिन गांव की बेटी होने के नाते वह हमारी भी बेटी है इसलिए उस बेटी की मायरे में सभी मिलजुल कर हिस्सा लेंगे और एक ऐसा भात भरा जाएगा जो सतयुग के जमाने में नरसी जी का भात  चरितार्थ हुआ था उसी प्रकार हम भी पूरे गांव के लोग उस बहन के घर मायरा भरने जाए सभी ग्रामीण एकमत हुए और उस बहन के घर पूरे जोश उमंग और उत्साह के साथ लोग पहुंचे भावत बल में उस बहन ने सभी को तिलक लगाकर सभी भाई बहनों का अपने घर स्वागत किया

गाँव की बेटी मीरा हरियाणा में शादीशुदा है । मीरा के पति भी गुजर चुके हैं सिर्फ 2 बेटियां ही है, उनके ना भाई है ना पिता है, अब उसी बेटी की बेटी यानी नेठराना की भांजी की शादी में आज सैंकड़ो ग्रामीणों ने भात भरा।

मीरा के पिता जोराराम बहुत पहले ही गुजर चुका था, मीरा भात का न्यौता देने निठराना पहुंची और अपने स्वर्गीय भाई की छोटी सी कुटिया को तिलक निकालकर कुटिया को भात को न्योता देकर अपने ससुराल चली गई।

अब ग्रामीणों ने इकट्ठे होकर निर्णय लिया कि भात भरा जाए ग्रामीणों ने सैंकड़ो की संख्या में इकट्ठे होकर लगभग 7 लाख रुपए का नगद भात , अन्य बान कन्या दान कपड़े समेत लगभग 10 लाख रुपए का टोटल भात भरा है जिसकी चर्चा हर ओर है इस भात ने नरसी भात को चरितार्थ किया है । बहुत बहुत धन्यवाद है नेठरानाबहुत बहुत धन्यवाद है नेठराना गांव को
असली मायरा तो मेरे ठाकुरजी ही भरते हैं
#नरसी के भात के बाद, #मीरा की पुकार सुनी है सांवरे ने 
नेठराना वालो सब का मन जीत लिया सबको एक नया संदेश दिया है 
नेठराना में अद्भुत भात समारोह 🚩

गाँव की बेटी मीरा हरियाणा में शादीशुदा है । मीरा के पति भी गुजर चुके हैं सिर्फ 2 बेटियां ही है, उनके ना भाई है ना पिता है, अब उसी बेटी की बेटी यानी नेठराना की भांजी की शादी में आज सैंकड़ो ग्रामीणों ने भात भरा।

मीरा के पिता जोराराम बहुत पहले ही गुजर चुका था, मीरा भात का न्यौता देने निठराना पहुंची और अपने स्वर्गीय भाई की छोटी सी कुटिया को तिलक निकालकर कुटिया को भात को न्योता देकर अपने ससुराल चली ग

मीरा के पिता जोराराम बहुत पहले ही गुजर चुका था, मीरा भात का न्यौता देने निठराना पहुंची और अपने स्वर्गीय भाई की छोटी सी कुटिया को तिलक निकालकर कुटिया को भात को न्योता देकर अपने ससुराल चली गई।

अब ग्रामीणों ने इकट्ठे होकर निर्णय लिया कि भात भरा जाए ग्रामीणों ने सैंकड़ो की संख्या में इकट्ठे होकर लगभग 7 लाख रुपए का नगद भात , अन्य बान कन्या दान कपड़े समेत लगभग 10 लाख रुपए का टोटल भात भरा है जिसकी चर्चा हर ओर है इस भात ने नरसी भात को चरितार्थ किया है ।

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