श्री आरके महिला कॉलेज में अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद द्वारा रानी दुर्गावती की जयंती मनाई गई
गिरिडीह ---- आज अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद् गिरिडीह के द्वारा श्री राम कृष्ण महिला महाविधालय रानी दुर्गावती जी का जयंती मनाई गई । इस दौरान गिरिडीह कोडरमा विभाग छात्रा प्रमुख विशाखा कुमारी ने बताई की शौर्य, अदम्य, साहस और पराक्रम का प्रतीक गोंड राज्य की पहली रानी दुर्गावती का इतिहास अमिट हैं। ये वो वीर नारी थी, जिसमें अपने स्वाभीमान और देश की खातिर अकबर के जुल्मों के सामने झुकने से इंकार कर दिया था। खुद अपनी कटार सीने में घोंप कर आजादी के लिए कुर्बान हो गई। मातृभूमि की रक्षा में प्राणों का बलिदान करके अपने लहू से इतिहास के पन्नों पर वीरांगना रानी दुर्गावती, इतिहास में अमर हैं। 16वीं शताब्दी में गोंडवाना और गढ़ा-मण्डला की महारानी दुर्गावती ने मुगल सम्राट अकबर की आक्रान्ता सेनाओं से अपनी मातृभूमि की रक्षा करने लोहा लिया और जबलपुर के निकट नर्रई नाला के पास वीरगति पाई। रानी के बलिदान को 459 वर्ष हो जाने के बाद भी लोग उनके शौर्य, अप्रतिम देशप्रेम, साहस, शासन नैपुण्य, प्रजा वात्सल्यता और प्राणोत्सर्ग को याद करते हैं। चार शताब्दियों से अधिक समय बीतने के बाद भी दुर्गावती की कीर्ति, बलिदान गाथा और वीरता की कहानी अक्षुण्ण बनी हुई है। मौके पर प्रो ज्योति, अंजली कुमारी, सुशीला हंसदा, सविता कुमारी, सुष्मिता टुड्डू, प्रीति वर्मा, प्रियांशु भारती, नेहा कुमारी, सुनीता वर्मा, स्नेहा वर्मा आदि मौजूद थे।


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