महिलाएं अब कई क्षेत्रों में भी बढ़ चढ़कर हिस्सा ले रही है - निदेशक, डीपीएलआर...
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महिलाएं सभी क्षेत्रों में आगे बढ़ रही है-एसडीओ, चास....
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बेटियों के हाथों की सुंदरता बढ़ाने के लिए चूड़ी नहीं बल्कि कलम दे ताकि वो अपना हाथ नहीं अपना भविष्य सवार सके - डीएसडब्ल्यूओ....
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माँ के रूप में जन्म देती, बहन बनकर स्नेह लुटाती।
पत्नी बनकर साथ निभाती, बेटी बन आँगन महकाती।।.... उप समाहर्ता चास....
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इस अवसर पर जिले में विभिन्न क्षेत्रों में उत्कृष्ट कार्य करने वाली महिलाओं को सम्मानित भी किया गया
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अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर जिला स्तरीय कार्यक्रम का आयोजन सेक्टर 2/D कला केंद्र के सभागार में आयोजित किया गया
बोकारो :- अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर जिला स्तरीय कार्यक्रम का आयोजन सेक्टर 2/D कला केंद्र के सभागार में आयोजित किया गया। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि के रूप में निदेशक, डीपीएलआर श्रीमती मेनका, अनुमंडल पदाधिकारी चास सुश्री प्रांजल ढांडा एवं जिला परिवहन पदाधिकारी श्रीमती वंदना सेजवलकर द्वारा संयुक्त रूप से दीप प्रज्वलित कर कार्यक्रम का शुभारंभ किया। कार्यक्रम में शामिल अतिथियों ने मातृ शक्ति का वंदन किया और महिलाओं को देश प्रदेश के सामाजिक-आर्थिक, विकास में महत्वपूर्ण सहभागिता निभाने के लिए कृतज्ञता व्यक्त किया गया। साथ ही अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर जिला समाज कल्याण पदाधिकारी डॉ सुमन गुप्ता ने सभी महिलाओं को एक पेन दिया। साथ ही उन्होंने आवाह्न किया कि अपने बच्चों को पढ़ाए, आर्थिक रूप से सशक्त बनाएं एवं आत्मनिर्भर बनाएं। उन्होंने आगे कहा कि सशक्तिकरण का मतलब सिर्फ आर्थिक रूप से सक्षम बना होना नहीं बल्कि महिलाएं तब सशक्त होगी। जब घर के हर निर्णय में उनकी सहभागिता सुनिश्चित हो। आज के इस कार्यक्रम में जिला प्रशासन की ओर से इस महिला दिवस पर एक पेन के माध्यम से संदेश देने का छोटा सा प्रयास किया गया है। उन्होंने आगे कहा कि बेटियों के हाथों की सुंदरता बढ़ाने के लिए चूड़ी नहीं बल्कि कलम दे ताकि वो अपना हाथ नहीं अपना भविष्य सवार सके....
इस दौरान कार्यक्रम में जिला समाज कल्याण पदाधिकारी डॉ सुमन गुप्ता ने सभी महिलाओं को अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस की बधाई देते हुए कहा कि सरकार द्वारा महिलाओं के विकास एवं कल्याण के लिए अनेकों योजनाएं संचालित की जा रही है जिनका लाभ दिलाने का प्रयास निरंतर जारी है। साथ ही सावित्री बाईं फुले योजना, मुख्यमंत्री मईया सम्मान योजना, मुख्यमंत्री कन्यादान योजना, प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना, जननी सुरक्षा योजना, सर्वजन पेंशन योजना एवं किशोरी समृद्धि योजना की विस्तार से जानकारी दिया। इसके अलावे बेटियों की जन्म की खुशी में महिलाओं को मेडिकल किट दिया।
महिलाएं अब कई क्षेत्रों में भी बढ़ चढ़कर हिस्सा ले रही है-
कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में निदेशक, डीपीएलआर श्रीमती मेनका ने कहा कि महिलाओं को उनका हक दिलाने के लिए राज्य और केंद्र सरकार अनेक कार्यक्रम चला रहे हैं। बिना किसी भेदभाव के मातृ शक्ति को उनका हक दिलाने कई अभूतपूर्व निर्णय भी सरकार ने लिए हैं। उन्होंने कहा कि महिलाओं को अब तक 50% आरक्षण मिल रहा है, जिससे घर की चारदिवारी से बाहर निकाल कर महिलाएं अब कई क्षेत्रों में भी बढ़ चढ़कर हिस्सा ले रही है। उन्होंने आगे बताया कि मुख्यमंत्री मईया सम्मान योजना* से महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने और उन्हें आत्मसम्मान से जीने की राह दिखाई है।
महिलाएं सभी क्षेत्रों में आगे बढ़ रही है-
अनुमंडल पदाधिकारी चास सुश्री प्रांजल ढांडा ने कहा कि आज के जमाने में महिलाएं सभी क्षेत्रों में पुरुषों के साथ कदम से कदम मिलाकर आगे बढ़ रही है। महिलाओं की सहभागिता से ही आज हम अपने प्रदेश और देश को विकास के रास्ते पर बहुत आगे ले जा सकते हैं। उन्होंने आगे बताया कि महिला शक्ति की अनेको कहानियां है। एवरेस्ट फतह हो या आईआईटी, आईआईएम में पढ़ाई हो या बड़ी फैक्ट्रियां और कार्यालय संस्थान चलाने की बात हो, महिलाएं सभी क्षेत्रों में आगे बढ़ रही है। उन्होंने जिले में विभिन्न क्षेत्रों में आज अच्छा काम करने वाले महिलाओं को आगे लाने, उन्हें प्रोत्साहित करने के साथ कमजोर वर्ग की महिलाओं को बढ़ाने के लिए जिला प्रशासन हर संभव प्रयास करेगा। इसके लिए विस्तृत योजना बनाई जाएगी और महिलाओं को उचित मदद भी उपलब्ध कराई जाएगी।
सभी महिलाओं को बेटी बेटे पर सम्मान रूप से ध्यान देने पर जोर दिया-
जिला समाज कल्याण पदाधिकारी डॉ सुमन गुप्ता ने कहा कि सरकार ने महिलाओं लड़कियों को सशक्त करने के लिए अनेक सरकारी योजनाएं चलाई है। जरूरत है, आपको आगे बढ़ कर उसका लाभ लेने के लिए हम इसे अपने विभाग से शुरुआत करते है। साथ ही सभी महिलाओं को बेटी बेटे पर सम्मान रूप से ध्यान देने उनका पालन-पोषण, शिक्षा-दीक्षा करने पर जोर दिया। उन्होंने बेटियों को परिवार बढ़ाने वाली सबसे पहली सामाजिक कड़ी बताया। उन्होंने बेटियों को किसी से कम नहीं समझने, मान-सम्मान देने और उसमें आत्मविश्वास जागृत करने की शुरुआत अपने घरों से ही करने का आवाह्न कार्यक्रम में उपस्थित लोगों से किया। साथ ही उन्होंने आगे कहा कि यूं ही नहीं मिलती राही को मंजिल, एक जुनून सा दिल में जगाना होता है। पूछा चिड़िया से कैसे बना आशियाना ?? वह बोली भरनी पड़ती है उड़ान बार-बार..... तिनका तिनका उठाना होता है।
समाज को एक नई दिशा और दशा दिखाने का काम कर रही है-
जिला परिवहन पदाधिकारी श्रीमती वंदना सेजवलकर ने कहा कि आज कोई भी ऐसा काम नहीं जो आज महिलाएं ना कर पाए बस करने का जुनून और हौसला बुलंद और इरादा पक्का होना चाहिए तो मुकाम खुद व खुद चलकर सामने आ जाती है और इसकी मिसाल है बोकारो जिला है आज बोकारो जिले के कई उच्च पदों पर महिला पदाधिकारी विराजमान है और अपनी कड़ी मेहनत और लगन से आज समाज को एक नई दिशा और दशा दिखाने का काम कर रही है।
वहीं कार्यक्रम में भूमि सुधार उपसमाहर्ता श्री प्रभाष दत्ता ने कहा कि महिलाओं के लिए समर्पित एक दिन है। अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस दुनिया भर में महिलाओं के सम्मान में अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस मनाया जाता है। उन्होंने महिलाओं के संदर्भ में कहा कि माँ के रूप में जन्म देती, बहन बनकर स्नेह लुटाती।
पत्नी बनकर साथ निभाती, बेटी बन आँगन महकाती।
मौके पर सभी सीडीपीओ, महिला पर्यवेक्षक, आंगनबाड़ी सेविका, स्वास्थ्य कार्यकर्ता, जेएसएलपीएस की दीदी सहित अन्य उपस्थित थे।








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